Ghalib ki Shayari in hindi fonts
हम कहाँ के दाना थे किस हुनर में यकता थे
बे-सबब* हुआ ‘ग़ालिब’ दुश्मन आसमाँ अपना
***
निकलना ख़ुल्द से आदम का सुनते आए हैं लेकिन
बहुत बे-आबरू हो कर तिरे कूचे से हम निकले
***
हम हैं मुश्ताक़ और वो बेज़ार
या इलाही ये माजरा क्या है
***
रंज से ख़ूगर हुआ इंसाँ तो मिट जाता है रंज
मुश्किलें मुझ पर पड़ीं इतनी कि आसाँ हो गईं
***
इस सादगी पे कौन न मर जाए ऐ ख़ुदा
लड़ते हैं और हाथ में तलवार भी नहीं
***
पहले आती थी हाल-ए-दिल पे हँसी
अब किसी बात पर नहीं आती
***
हम ने माना कि तग़ाफ़ुल न करोगे लेकिन
ख़ाक हो जाएँगे हम तुम को ख़बर होते तक
***
आईना क्यूँ न दूँ कि तमाशा कहें जिसे
ऐसा कहाँ से लाऊँ कि तुझ सा कहें जिसे
***
हम वहाँ हैं जहाँ से हम को भी
कुछ हमारी ख़बर नहीं आती
***
पिला दे ओक से साक़ी जो मुझ से नफ़रत है
पियाला गर नहीं देता न दे शराब तो दे
***
हर एक बात पे कहते हो तुम कि तू क्या है
तुम्हीं कहो कि ये अंदाज़-ए-गुफ़्तुगू क्या है
***
तुम सलामत रहो हज़ार बरस
हर बरस के हों दिन पचास हज़ार
***
हवस को है नशात-ए-कार क्या क्या
न हो मरना तो जीने का मज़ा क्या
Galib Ki Shayari
क़ासिद के आते आते ख़त इक और लिख रखूँ
मैं जानता हूँ जो वो लिखेंगे जवाब में
***
आए है बे-कसी-ए-इश्क़ पे रोना ‘ग़ालिब’
किस के घर जाएगा सैलाब-ए-बला मेरे बाद
***
दाइम पड़ा हुआ तिरे दर पर नहीं हूँ मैं
ख़ाक ऐसी ज़िंदगी पे कि पत्थर नहीं हूँ मैं
***
इश्क़ ने ‘ग़ालिब’ निकम्मा कर दिया
वर्ना हम भी आदमी थे काम के
***
उन के देखे से जो आ जाती है मुँह पर रौनक़
वो समझते हैं कि बीमार का हाल अच्छा है
***
इशरत-ए-क़तरा है दरिया में फ़ना हो जाना
दर्द का हद से गुज़रना है दवा हो जाना
***
आह को चाहिए इक उम्र असर होते तक
कौन जीता है तिरी ज़ुल्फ़ के सर होते तक
***
इश्क़ पर ज़ोर नहीं है ये वो आतश ‘ग़ालिब’
कि लगाए न लगे और बुझाए न बने
***
वो आए घर में हमारे ख़ुदा की क़ुदरत है
कभी हम उन को कभी अपने घर को देखते हैं
***
जब तवक़्क़ो ही उठ गई ‘ग़ालिब’
क्यूँ किसी का गिला करे कोई
***
दिल-ए-नादाँ तुझे हुआ क्या है
आख़िर इस दर्द की दवा क्या है
***
जला है जिस्म जहाँ दिल भी जल गया होगा
कुरेदते हो जो अब राख जुस्तुजू क्या है
***
यही है आज़माना तो सताना किस को कहते हैं
अदू के हो लिए जब तुम तो मेरा इम्तिहाँ क्यूँ हो
***
जी ढूँडता है फिर वही फ़ुर्सत के रात दिन
बैठे रहें तसव्वुर-ए-जानाँ किए हुए
***
नोट- उम्मीद है कि आपको Best shayari of mirza ghalib in hindi पसंद आयीं होगी, Mirza ghalib shayari in hindi 2 lines को अपने दोस्तों व चाहने वालों को Facebook आदि पर अपने दोस्तों के साथ जरूर शेयर करे हमसे जुड़े रहने के लिए हमारे फेसबुक पेज को लाइक करना नहीं भूलें।
Tag : Mirza Ghalib, Poetry, Sad, New, Best, Latest, Two Line, Hindi, Urdu, Shayari, Sher, Ashaar, Collection, Shyari, नई, नवीनतम, लेटेस्ट, हिंदी, उर्दू, शायरी, शेर, अशआर, संग्रह, 2 line sad shayari , two line shayari in hindi , 2 line shayari in hindi , 2 line urdu poetry